बुजु करने का तरीका हिंदी मै और बुजु के बाद की दुआ lyrics

इस पोस्ट मै हम आज आपको बुजु करने का तरीका हिंदी मै और बुजु के बाद की दुआ के बारे मै अच्छी तरह सुरु से एंड तक समझायेंगे इस्लाम मै पाक साफ रहने का बहुत महत्त्व है! इबादत करने से पहले बुजु करना बहुत जरूरी होता है! आप नमाज से पहले अगर बुजु नहीं करते है! और आप बगैर बुजु के नमाज पढ़ते है! तो आपकी नमाज नहीं होंगी तो नमाज पढ़ने से पहले बुजु का करना बहुत जरूरी है!

बुजु करने का हुक्म कुरआन मै आया है!

ऐ ईमान बालो तुम नमाज के लिए खड़े हो तो अपने चेहरे और हाथो को कोहनीयों तक धोलो और अपने सर का माशाह करो और तखनो तक अपने पाओ धोओ

बुजु किस तरह करना चाहिए बो मुहम्मद मुस्तफा सरबरे दो आलम ताजदारे मदीना सल्लल्लाहो अलैहे बसल्लम ने लोगो को करके दिखाया और सिखाया है! तो चलिए हम जानते है! बुजु का किया महत्त्व है! उसका तरीका किया है! और बुजु कियु करा जाता है!

बुजु का किया महत्त्व है!

दरअसल अरवी शब्द मै बुजु को (الوضوء‎) हिंदी और उर्दू मै बुजु कहा जाता है! इस्लाम मै शरीर के भागो को अच्छी से धोकर नमाज के लिए या इबादत करने के लिए तैयार होने को बुजु कहते है! इस बुजु मै हाथ मुँह नाक (अंदरूनी) बाजूये सर और पाओ को एक ख़ास तरतीब और ख़ास तरीके से धोकर बुजु किया जाता है! पैग़म्बर मुहम्मद मुस्तफा सरकारे दो आलम सल्लाहों अलैहे बसल्लम ने पाकी को आधा ईमान बताया है! लोगो से गुजारिश है! की आप लोग पाक साफ रहने की और व बुजु रहने की कोशिस करा करें! फी अमानिल्लाह

बुजु का तरीका :-

हमने ऊपर जाना की हाथ मुँह नाक (अंदरूनी) बाजुए सर और पाओ को तरतीव से करने को बुजु कहते है! लेकिन बुजु करने का एक ख़ास तरीका है! और उसकी ख़ास तरतीव है! और तरतीव से ही बुजु करना चाहिए हम आपको बह तरीका बताएँगे! लेकिन बुजु का तरीका जानने से पहले हम जानते है! की बुजु मै कितने फर्ज होते है!

बुजु मै कितने फर्ज होते है!

बुजु मै चार फर्ज होते है! और इन चारो फरजो मै से एक भी फर्ज छूट जाता है! तो बुजु मुकम्मल नहीं होता है! और बुजु को तरतीव से करना चाहिए!

(1) पूरे चेहरे को अच्छे से धोना पैसानी से लेकर दोनों कानो की लो तक दाढ़ी के सभी बालो का खलल करना और चेहरे को अच्छे से धोना!

(2) दोनों हाथों को अच्छे से कोहनीयों तक धोना अगर जरा सी जगह भी नहीं धूल पायी तो बुजु नहीं होगा इसका ख़ास ध्यान रखना चाहिए!

(3) सर का मसाह करना

(4) दोनों पाव को तखनो तक धोना

ये चारो बुजु के फर्ज है! इन मै से अगर एक भी फर्ज छूट गया! तो आपका बुजु नहीं होगा! इन चीजों का ख़ास ध्यान रखना चाहिए!

बुजु करने का तरीका :-

(1) बुजु की नियत का करना!

(2) बिस्मिल्लाह पढ़ कर बुजु की शुरुआत करना

(3) बुजु करते बख्त ये ध्यान रखना जरूरी है! की बुजु की शुरुआत सीधे हाथ से करनी चाहिए!

(4) सबसे पहले आप अपने दोनों हाथो को धोना अच्छे से धोना चाहिए एक भी बाल सूखा ना रह जाए! अगर आप अंगूठी पहने हुए है! तो उसको उतार दे! या पानी डाल कर घुमा ले ताकि पानी वहां पर पहुँच जाए! हाथ धोते बख्त दोनों हाथो की उंगलियों मै खिलाल करना चाहिए! ताकि पानी अच्छे से वहां पहुंच जाए! और एक भी बाल सूखा ना रह जाए!

(5) कुल्ली का करना सीधे हाथ से पानी लेकर 3 बार कुल्ली करना और पानी को हलक तक पहुंचना! गारारा करना!

(6) नाक मै पानी का डालना नरम हड्डी तक पहुँचाना पानी को 3 बार

(7) चेहरे का धोना पैसानी से लेकर दोनों कानो की लो तक चेहरे को अच्छे से धोना और ढाढी के बालो का खलल करना एक भी बाल सूखा ना रह जाए! बरना बुजु नहीं होगा!

(8) कोहनीयों तक हाथो को धोना पहले सीधा हाथ 3 बार धोना फिर उल्टा हाथ 3 बार धोना अच्छे से की कोई भी बाल सूखा ना रह जाए!

(9) सर का मसाह करना

(10) दोनों पाव तखनो तक तीन बार धोना अगर आपके कोई जखम बगेरा है! उसपर पट्टी बँधी हुयी है! तो उसके ऊपर मसाह करले इस तरह आपका बुजु मुकम्मल हुआ!

बुजु के बाद की दुआ :-

पैगम्बर मुहम्मद मुस्तफा सरकारे दो आलम सल्लल्लाहो अलैहे बसल्लम ने अल्लाह से माँगने बाला बनाया! उसे दुआएं सिखाई पैगम्बर मुहम्मद मुस्तफा सरकारे दो आलम सल्लल्लाहो अलैहे बसल्लम ने बुजु के बाद की दुआ भी लोगो को सिखाई दुआ इस पिरकार है! और दुआ को बुजु से फ़ारिग होकर खड़े होकर सहादत बाली ऊँगली को आसमान की तरफ करके ये दुआ पढ़े!


أَشْهَدُ أَنْ لاَ إِلَهَ إِلاَّ اللَّهُ وَأَشْهَدُ أَنَّ مُحَمَّدًا عَبْدُهُ وَرَسُولُهُ

मैं गवाही देता हूं के अल्लाह के सिवा कोई माबूद नहीं। (वो अकेला है, इसका कोई शरीक नहीं) और मैं गवाही देता हूं के मुहम्मद (ﷺ) अल्लाह के बंदे और रसूल हैं.’

पैगम्बर मुहम्मद (ﷺ) ने फ़रमाया “जो शाख़्स पूरा वजू करे और फिर कहे:” अशहदु अल्ला इलाहा इल-अल्लाहु, व अश-हदु अन्ना मुहम्मदन अब्दुहु व रसूलुहु” तो इस के लिए जन्नत के आठों दरवाजे खोल दिए जाते हैं के जिस से चाहे दाखिल हो.”

आशा है आपको इस लेख में वजू के बाद की दुआ और वजू का तरीका इसकी जानकारी मिली होगी. इस पोस्ट में लिखी मालूमत अगर आपको पसंद आई हो तो इसे अपने दोस्तों और अन्य लोगोंमे शेयर करे और इसे सामान्य लोगोंतक पहुंचानेमे हमारी सहायता करें.


writter :- हसीन मुसीर अहमद कादरी नक्सबंदी भुजपुरा अलीगढ

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